शनिवार, 7 दिसंबर 2024

अ से अमिताभ : कथन-उपकथन 26


एक बात कहें

किसी से उम्मीद करनी ही नहीं चाहिए

उम्मीदें टूटती हैं, तो बड़ी तकलीफ़ होती है

 बागबान,2003 निर्देशक: रवि चोपड़ा  लेखक: अचला नागर 


***

कितने अच्छे सपने देखे

कितनी अच्छी बातें सोचीं

मन से मन को मिलते देखा

मन-उपवन को खिलते देखा

फिर देखा यूँ   होता हुआ      

खिसकने लगी लग पड़ी 

पैरों तले की ज़मीन

उनकी ही वजह से

जो लोग थे ज़हीन

उन्हीं की कि जिनकी

बड़ी ख़ुद से भी ज़्यादा

अपनी तशरीफ़ होती है !



"एक बात कहें

किसी से उम्मीद करनी ही नहीं चाहिए

उम्मीदें टूटती हैं, तो

बड़ी तकलीफ़ होती है" !! 

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