शोले, 1975 निर्देशन: रमेश सिप्पी छायांकन: द्वारका दिवेचा
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आँखें जो बयां करती हैं
सुना करो
तुम उसको
वरना
इस ज़िंदगी में
झूठ बहुत है
फ़रेब बहुत है ...!
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